लड़ाके

कविता

वो आज
उन चंद लड़ाकों की वजह से,
आज ये धरती नामी है,

उनके साहस, ताकत, जज़्बे,
की दौलत ये इनामी है,

है गवाह इतिहास समय,
जो उनकी याद में रोता है,

मानवता का पूरा सागर,
उनके ख्वाब में सोता है,

वो आज किताबों में,
दफ़्न हैं कहीं ।।

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